मुख्यमंत्री लाड़ली बहन योजना की वर्तमान में खूब चर्चा हो रही है, जिसमें अब तक दो करोड़ से अधिक महिलाओं ने आवेदन किया है. इस योजना के माध्यम से एक करोड़ से ज्यादा महिलाओं को आर्थिक सहायता प्रदान की जा चुकी है. जुलाई और अगस्त के महीनों के लिए प्रत्येक महिला को 3,000 रुपये दिए गए हैं.
सरकार ने बैंक को दिए ये निर्देश
हालांकि, कई महिलाओं को इस योजना से लाभ हुआ है, लेकिन कुछ महिलाओं के बैंक खातों में जमा की गई राशि कट गई है. बैंकों द्वारा विभिन्न शुल्कों के तहत यह कटौती की गई है, जिससे महिलाओं को पूरी राशि नहीं मिल पाई.
राज्य सरकार ने इस समस्या का संज्ञान लेते हुए, सभी बैंकों को निर्देश दिया है कि लाड़ली बहन योजना के तहत पात्र महिलाओं के खातों में जुलाई और अगस्त के लिए 3,000 रुपये जमा किए गए हैं, और अब तक एक करोड़ से अधिक महिलाओं के खातों में यह राशि जमा हो चुकी है. पैसा उसी बैंक खाते में जमा किया गया है, जो महिला के आधार कार्ड से जुड़ा हुआ है. लेकिन कई बैंकों ने मिनिमम बैलेंस, चार्ज और अन्य दंडात्मक शुल्कों के नाम पर महिलाओं के खातों से कुछ राशि काट ली है. इस कारण, कई महिलाओं को उनके खातों में जमा की गई पूरी राशि नहीं मिल पाई है.
बैंक खातों में जमा की गई राशि कट गई
महिलाओं की इस समस्या को ध्यान में रखते हुए, राज्य सरकार ने महिला एवं बाल विकास विभाग के माध्यम से सभी बैंकों को निर्देश जारी किया है कि मुख्यमंत्री लाड़ली बहन योजना के तहत मिलने वाली राशि में किसी भी प्रकार की कटौती नहीं की जानी चाहिए. यहां तक कि अगर किसी महिला का ऋण बकाया है, तो भी इस योजना के तहत जमा की गई राशि को उस ऋण के लिए नहीं काटा जा सकता है. इसके अतिरिक्त, यदि किसी महिला का बैंक खाता किसी भी कारण से बंद कर दिया गया है, तो उसे फिर से सक्रिय किया जाए.
किसी भी प्रकार की कटौती नहीं की जानी चाहिए
महिला एवं बाल विकास मंत्री अदिति तटकरे ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स के जरिए यह जानकारी दी कि राज्य सरकार के इन निर्देशों के बाद अब लाड़ली बहन योजना की लाभार्थी महिलाओं को पूरी राशि प्राप्त होगी, और बैंकों द्वारा किसी भी प्रकार का शुल्क नहीं काटा जाएगा. इस निर्णय से महिलाओं को बड़ी राहत मिलेगी और योजना का लाभ सही तरीके से उन तक पहुंच सकेगा.
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